इलाहाबाद हाईकोर्ट ने राजकीय इंटरमीडिएट कॉलेजों में संगीत के शिक्षक की भर्ती के मामले में लोक सेवा आयोग उत्तर प्रदेश (यूपीपीएससी) से जवाब तलब किया है। कोर्ट ने उन अभ्यर्थियों को भी नोटिस जारी कर जवाब मांगा है, जिन पर बिना अर्हता के चयनित होने का आरोप लगाया गया है।प्रीति यादव व अन्य की याचिका पर न्यायमूर्ति जेजे मुनीर सुनवाई कर रहे हैं। याची के अधिवक्ता का कहना है कि उप्र लोकसेवा आयोग में 18 मार्च 2018 को संगीत के शिक्षकों सहित अन्य विषयों के अध्यापकों की भर्ती का विज्ञापन जारी किया था। संगीत के शिक्षक के लिए स्नातक में संगीत विषय व बीएड डिग्री का होना अनिवार्य था। याची ने आवेदन किया। पांच अप्रैल को प्रोविजनल चयन सूची जारी की गई जिसमें याची चयनित नहीं हुआ उसका कहना है कि आयोग ने कई ऐसे अभ्यर्थियों का चयन किया है जिनके पास बीएड डिग्री नहीं है इसकी वजह से मेरिट काफी ऊपर चली गई और याची चयनित नहीं हो सका, जबकि उसके पास सभी अर्हताएं हैं।